डीएम के निर्देश पर राशन कालाबाजारी में कोटेदार के खिलाफ एफआईआर
डीएम के निर्देश पर राशन कालाबाजारी में कोटेदार के खिलाफ एफआईआर
-सदर तहसील की पूर्ति निरीक्षक अंजलि ने पंजीकृत कराया थाना जैंत में अभियोग
मथुरा । गरीबों के हक पर डांका डालना जैंत के राशन डीलर अजीत सिंह को भारी पड़ गया, राशन वितरण नही करने की एक फोन कॉल को गंभीरता से लेते हुए जिलाधिकारी चंद्र प्रकाश सिंह ने जिला पूर्ति अधिकारी को तत्काल कार्यवाही करने के निर्देश दिए और शिकायत सही पाई गई, राशन कार्ड धारकों को राशन सामग्री नियमानुसार वितरण नहीं करने और स्टॉक में 42.67 कुंतल खाद्यान्न नही मिलने का दोषी पाया गया ।
सदर तहसील की पूर्ति निरीक्षक अंजलि ने थाना जैंत में अभियोग पंजीकृत कराया है, वहीं राशन कार्ड धारकों के हितों को ध्यान में रखते हुए निलंबित दुकान के कार्ड धारकों को राशन विक्रेता सोरन सिंह की दुकान से संबद्ध कर दिया है, मिली जानकारी के अनुसार गांव की एक महिला राशनकार्ड धारक के पति कमल सिंह ने जिलाधिकारी से फोन पर शिकायत की थी कि राशन डीलर अजीत सिंह राशन सामग्री का वितरण नहीं कर रहा है ।
जिलाधिकारी चंद्र प्रकाश सिंह ने शिकायत को गंभीरता से लेते हुए जिला पूर्ति अधिकारी को त्वरित जांच के आदेश दिए, जिलाधिकारी के निर्देश पर तत्काल कार्यवाही करते हुए जिला पूर्ति अधिकारी, पूर्ति निरीक्षक, पूर्ति लिपिक आदि ने जैंत में अजीत सिंह की दुकान पर छापा मारा जिसमें गेहूं, चावल आदि राशन सामग्री का एक भी कट्टा दुकान पर नहीं मिला जबकि वितरण करने वाली ई-वेईंग मशीन की एमआईएस रिपोर्ट के अनुसार खाद्यान्न सामग्री के 85 कट्टे दुकान के स्टॉक में होने चाहिए थे, टीम ने छापामार कार्यवाही के उपरांत उक्त दुकान से जुड़े हुए कार्ड धारकों के बयान लिए ।
राशन कार्ड धारक गीता देवी, तुलसा देवी, लतेश, कमला, गायत्री देवी, भगवती कुमारी, रौतानी, बबली, पूरन देवी, हेमा, सुनीता, जलदेई, मुरारी लाल, बाबूलाल आदि दर्जनों उपभोक्ताओं ने बताया कि अजीत सिंह मथुरा शहर में रहता है, असभ्य भाषा बोलता है, कभी भी पूरे दिन दुकान नहीं खोलता और ना ही राशन सामग्री का वितरण नियमानुसार करता है, हम मजदूर वर्ग के लोग हैं, बिना राशन लिए मायूस होकर लौटना पड़ता है, ई वेईंग मशीन के रिकॉर्ड और उपभोक्ताओं के बयानों के आधार पर कोटेदार अजीत सिंह द्वारा गेहूं, चावल आदि मिलाकर कुल खाद्यान्न 42.67 कुंतल की कालाबाजारी करने, नियमानुसार दुकान नही खोलने व नियमानुसार राशन सामग्री का वितरण नही करने का दोषी पाया गया है ।







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