पूर्व IPS अमिताभ ठाकुर की गिरफ्तारी में लगाया गंभीर अनियमितताओं का आरोप
पूर्व IPS अमिताभ ठाकुर की गिरफ्तारी में लगाया गंभीर अनियमितताओं का आरोप
-आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर
-देश, प्रदेश के सरकारी विभागों में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज़ उठाते रहे हैं अमिताभ ठाकुर
-आजाद अधिकार सेना ने की राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग से तत्काल हस्तक्षेप की मांग
लखनऊ । आजाद अधिकार सेना के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं ने अपने राष्ट्रीय अध्यक्ष, पूर्व IPS अधिकारी एवं सामाजिक कार्यकर्ता अमिताभ ठाकुर की 9–10 दिसंबर 2025 की रात हुई गिरफ्तारी को अत्यंत संदिग्ध, गैर-पारदर्शी और मानवाधिकारों का घोर उल्लंघन बताते हुए राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) से तत्काल हस्तक्षेप की मांग की है ।

संगठन के राष्ट्रीय संगठन मंत्री देवेंद्र सिंह राणा ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को विस्तृत शिकायत भेजकर इस प्रकरण पर हस्तक्षेप करने की मांग की है और गंभीर चिंता का व्यक्त करते हुए तमाम सवाल उठाते हुए कहा हैं कि अमिताभ ठाकुर को लखनऊ से दिल्ली जा रही ट्रेन से शाहजहाँपुर रेलवे स्टेशन पर बिना गिरफ्तारी वारंट दिखाए और बिना कानूनी प्रक्रिया का पालन किए STF द्वारा हिरासत में लिया गया, वहीं गिरफ्तारी के तुरंत बाद अमिताभ ठाकुर और उनकी पत्नी डॉ0 नूतन ठाकुर का X (Twitter) अकाउंट अचानक निलंबित कर दिया गया जिससे परिवार और समर्थकों का उनसे संपर्क पूरी तरह टूट गया है ।
वहीं बताया जा रहा है कि देवरिया CJM कोर्ट में पेशी के दौरान अमिताभ ठाकुर ने खुले अदालत में कहा है कि “मेरी हत्या कराई जा सकती है, यह योगी सरकार का षड्यंत्र है।”, यह बयान वीडियो में दर्ज है और मीडिया में व्यापक प्रसारित भी हुआ है, जिस मामले में गिरफ्तारी दिखाई गई है, वह 26 वर्ष पुराना (1999) है और आज तक चार्जशीट तक दाखिल नहीं हुई थी जिससे कार्रवाई की मंशा पर गंभीर सवाल खड़े होते हैं, श्री ठाकुर ने लंबे समय से यूपी में भ्रष्टाचार, पुलिस सुधार और नागरिक अधिकारों पर खुलकर आवाज उठाई है जिसके कारण उन्हें निशाना बनाया जाना कोई नई बात नहीं है ।
@मानवाधिकार का स्पष्ट उल्लंघन
★गिरफ्तारी में पारदर्शिता का पूर्ण अभाव
★परिवार व अधिवक्ता को तत्काल सूचना नही देना
★सोशल मीडिया अकाउंट बंद कर अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का दमन
★पुलिस हिरासत में जीवन को गंभीर खतरे की आशंका
★संविधान के अनुच्छेद 21 का सीधा उल्लंघन
@आजाद अधिकार सेना की राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग से त्वरित कार्रवाई की निम्न मांग—
1. श्री अमिताभ ठाकुर की तत्काल मेडिकल जांच कराई जाए और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित की जाए।
2. परिवार एवं अधिवक्ता से मिलने की तत्काल अनुमति प्रदान की जाए।
3. गिरफ्तारी से संबंधित सभी दस्तावेज—गिरफ्तारी वारंट, मेमो, मेडिकल रिपोर्ट, हिरासत रिकॉर्ड—की स्वतंत्र जांच कराई जाए।
4. आवश्यक होने पर मामले को CBI को सौंपने की अनुशंसा की जाए।
आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय संगठन मंत्री देवेंद्र सिंह राणा ने कहा है कि “यह गिरफ्तारी सिर्फ अवैध नहीं, बल्कि एक सामाजिक कार्यकर्ता की आवाज को दबाने का प्रयास है, अमिताभ ठाकुर की सुरक्षा हमारे लिए सर्वोच्च प्राथमिकता है, यदि उन्हें कुछ भी होता है तो इसकी पूरी जिम्मेदारी राज्य सरकार और संबंधित पुलिस अधिकारियों की होगी।”







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